नयी दिल्ली। भारतीय शतरंज सेंसेशन आर प्रज्ञाननंदा ने एक और धमाका किया है। उन्होंने विश्व चैंपियन डिंग लाइरेन को हरा दिया है। ऐसा करके प्रज्ञाननंदा ने विश्वनाथन आनंद को पीछे छोड़ दिया है और नंबर 1 भारतीय शतरंज खिलाड़ी बन गए हैं। विश्व चैंपियन पर जीत से उत्साहित प्रज्ञाननंदा ने कहा कि “मुझे लगता है कि किसी भी दिन, यदि आप इतने मजबूत खिलाड़ी को हराते हैं तो यह हमेशा विशेष होता है।
चैंपियन को हराकर बने चैंपियन
शतरंज के प्रतिभाशाली खिलाड़ी रमेशबाबू प्रगनानंद ने मंगलवार को इतिहास रच दिया। उन्होंने टाटा स्टील शतरंज टूर्नामेंट में विश्व चैंपियन डिंग लिरेन को हरा दिया। इससे वे अनुभवी शतरंज ग्रैंडमास्टर विश्वनाथन आनंद को पछाड़कर पहली बार नंबर 1 रैंक वाले भारतीय ग्रैंडमास्टर बन गए है। चीन के विश्व चैंपियन पर जीत से प्रज्ञाननंदा भी आश्चर्यचकित हैं क्योंकि उन्हें उम्मीद नहीं थी कि इस खिलाड़ी इतनी आसानी से हरा पाएंगे। मुकाबले के बाद प्रज्ञाननंदा ने कहा कि “मुझे लगा कि मैंने बहुत आसानी से बराबरी कर ली और फिर किसी तरह चीजें उनके लिए गलत होने लगीं।
चुनौतियों से सावधान हैं प्रज्ञाननंदा
विश्व चैंपियन पर जीत से उत्साहित प्रज्ञाननंदा ने कहा कि “मुझे लगता है कि किसी भी दिन, यदि आप इतने मजबूत खिलाड़ी को हराते हैं तो यह हमेशा विशेष होता है। क्योंकि उन्हें हराना बहुत आसान नहीं होता। क्लासिकल शतरंज में विश्व चैंपियन के खिलाफ पहली बार जीतकर अच्छा लग रहा है।” प्रज्ञाननंदा ने कहा कि टूर्नामेंट में जिस तरह की शुरुआत मिली है उससे वे संतुष्ट हैं लेकिन वह अपने सामने आने वाली चुनौतियों से सावधान भी हैं। कहा कि “यह अच्छा है। मुझे लगता है कि पहले तीन गेम काफी दिलचस्प थे। मुझे लगता है कि मैं अच्छा खेल रहा हूं लेकिन पिछले साल भी ऐसा ही हुआ था। एक समय था जब मैं वास्तव में अच्छा खेल रहा था और फिर मेरा खेल काफी खराब हो गया। इसलिए मुझे लगता है कि यह अच्छा है। टूर्नामेंट के अंत तक ऊर्जा बरकरार रखना वास्तव में महत्वपूर्ण है।
Vishwanathan Anand
अहमदाबाद। भारत के उभरते हुए शतरंज खिलाड़ियों में से एक 18 वर्षीय ग्रैंडमास्टर आर प्रग्गनानंद के करियर को अडानी ग्रुप का साथ मिला है।
युवा शतरंज खिलाड़ी से मुलाकात के बाद अडानी समूह के चेयरमैन गौतम अडानी ने कहा, “हमें गतिशील प्रग्गनानंद का समर्थन करने पर बेहद गर्व है। जिस गति और दक्षता के साथ उन्होंने खेल में प्रगति की है, वह वास्तव में अद्भुत है और यकीनन सभी भारतीयों के लिए उदाहरण है। देश का प्रतिनिधित्व करने और उच्चतम स्तर पर सम्मान जीतने से ज्यादा महान कुछ भी नहीं है और अडानी ग्रुप इस यात्रा में एथलीटों का सपोर्ट करने के लिए पूरे दिल से समर्पित है।”
प्रग्गनानंद ने कहा, “मैं यह सुनिश्चित करने के लिए बेहद उत्सुक हूँ कि मेरा देश वैश्विक मंच पर अच्छा प्रदर्शन करे। मैं जब भी खेलता हूँ, तो मेरा एकमात्र लक्ष्य देश के लिए और अधिक सम्मान जीतना होता है। मैं अडानी ग्रुप को मेरी क्षमताओं पर भरोसा करने के लिए धन्यवाद देना चाहता हूँ।”
वर्ष 2023 में प्रग्गनानंद विश्वकप फाइनल में पहुँचने वाले दुनिया के सबसे कम उम्र के शतरंज खिलाड़ी बन गए और विश्वनाथन आनंद के बाद यह उपलब्धि हासिल करने वाले केवल दूसरे भारतीय बने। वर्ष 2022 में शर्मीले और मृदुभाषी इस किशोर ने मैग्नस कार्लसन को कई बार हरा कर शतरंज की दुनिया में सुर्खियाँ बटोरीं।
चेन्नई के रहने वाले प्रग्गनानंद को गणित विषय से बहुत प्रेम है और टीवी देखने व तमिल संगीत सुनने से उन्हें काफी सुकून मिलता है। उन्होंने वर्ष 2023 में हांग्जो एशियाई खेलों में रजत पदक भी जीता था। प्रग्गनानंद ने 5 साल की उम्र में खेलना शुरू कर दिया था वहीं वर्ष 2018 में महज 12 साल की उम्र में वे भारत के सबसे युवा और तत्कालीन दुनिया के दूसरे सबसे कम उम्र के ग्रैंडमास्टर बन गए। वे अभिमन्यु मिश्रा, सर्गेई कारजाकिन, गुकेश डी और जावोखिर सिंदारोव के बाद ग्रैंडमास्टर का खिताब हासिल करने वाले पाँचवें सबसे कम उम्र के खिलाड़ी हैं। संयोग से, उनकी बड़ी बहन आर. वैशाली भी ग्रैंडमास्टर हैं। यह बात इन दोनों भाई-बहन को दुनिया की पहली भाई-बहन जीएम जोड़ी बनाती है।
अडानी ग्रुप ने अपनी गर्व है पहल के माध्यम से मुक्केबाजी, कुश्ती, टेनिस, भाला फेंक, शूटिंग, रनिंग, शॉटपुट, ब्रिस्क वाकिंग और तीरंदाजी जैसे खेलों में 28 प्रतिभाशाली खिलाड़ियों को सपोर्ट किया है। लाभान्वित होने वालों में राष्ट्रमंडल खेलों के स्वर्ण पदक विजेता पहलवान रवि कुमार दहिया, दीपक पुनिया और मुक्केबाज अमित पंघाल भी शामिल हैं। दहिया और पुनिया ने 2020 में टोक्यो ओलंपिक 2020 और 2023 एशियाई खेलों में भी रजत पदक हासिल किए हैं।