इस्लामाबाद । पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री और पीएमएल-एन प्रमुख नवाज शरीफ के दो बेटों को भ्रष्टाचार निरोधक अदालत ने मंगलवार को भ्रष्टाचार के तीन मामलों में बरी कर दिया। इसी के साथ पूर्व प्रधानमंत्री के परिवार के सामने आने वाली कानूनी परेशानियां लगभग समाप्त हो गई हैं।
हसन और हुसैन नवाज को 2018 में पनामा पेपर्स लीक से संबंधित एवेनफील्ड, फ्लैगशिप और अल-अजीजिया भ्रष्टाचार मामलों में आरोपी बनाया गया था।
राष्ट्रीय जवाबदेही ब्यूरो (एनएबी) द्वारा 2018 में दायर एवेनफील्ड अपार्टमेंट, अल-अजीजिया और फ्लैगशिप इन्वेस्टमेंट मामलों की जांच में शामिल होने में विफल होने के कारण दोनों भाइयों को अपराधी घोषित कर दिया गया था।
हालांकि, उनके विदेश में होने की वजह से मामले की सुनवाई नहीं हो पाई। मामले में मुख्य आरोपी उनके पिता नवाज शरीफ को एवेनफिल्ड और अल-अजीजिया भ्रष्टाचार मामलों में दोषी ठहराया गया था, लेकिन फ्लैगशिप मामले में बरी कर दिया गया था।
तीन बार के प्रधानमंत्री और पाकिस्तान मुस्लिम लीग-नवाज (पीएमएल-एन) के अध्यक्ष नवाज शरीफ लगभग चार साल के स्व-निर्वासन के बाद पिछले साल अक्टूबर में लंदन से पाकिस्तान लौटे । उन्होंने दो मामलों में अपनी दोषसिद्धि को चुनौती दी और इस्लामाबाद उच्च न्यायालय ने उन्हें बरी कर दिया। इससे उनके बेटों को आरोपों का सामना करने के लिए लंदन से लौटने का साहस मिला।
अदालत द्वारा उन्हें भगोड़ा घोषित करने पर 14 मार्च तक रोक के बाद दोनों 12 मार्च को स्वदेश लौटे। अंततः अदालत के सामने पेश होने पर उन्हें जमानत मिल गई।
जवाबदेही अदालत ने मंगलवार को बरी करने की याचिका पर सुनवाई की। न्यायाधीश नासिर जावेद राणा ने मामले की सुनवाई के बाद तीनों मामलों में दोनों को बरी कर दिया।
NAWAZ SHARIF
लाहौर । पाकिस्तान के पंजाब प्रांत की पहली महिला मुख्यमंत्री के रूप में मरियम नवाज सोमवार को शपथ लेने जा रही हैं। ज्ञात रहे कि मरियम नवाज पूर्व प्रधानमंत्री नवाज शरीफ की बेटी हैं। पंजाब प्रांत में पाकिस्तान मुस्लिम लीग-नवाज (पीएमएलएन) और उसके सहयोगियों के पास सदन में साधारण बहुमत है, इसलिए उनके शीर्ष स्थान पर कब्जा करने में कोई समस्या नहीं मानी जा रही है।
इस बीच, पीएमएलएन ने पंजाब विधानसभा में स्पीकर और डिप्टी स्पीकर दोनों पदों पर कब्जा कर लिया है। मुख्यमंत्री पद के लिए चुनाव पीएमएलएन की 50 वर्षीय मरियम नवाज और इमरान खान की पीटीआइ समर्थित सुन्नी इत्तेहाद काउंसिल (एसआइसी) के उम्मीदवार राणा आफताब अहमद के बीच होगा। पंजाब विधानसभा के मैराथन सत्र में शनिवार को सांसदों ने गुप्त मतदान के माध्यम से पीएमएल-एन नेता मलिक अहमद खान को सदन का संरक्षक और जहीर इकबाल चन्नार को उपाध्यक्ष चुना। वहीं, पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी के वरिष्ठ नेता सैयद ओवैस शाह को रविवार को सिंध प्रांत विधानसभा का अध्यक्ष चुना गया, जबकि पार्टी के ईसाई चेहरे एंथनी नवीद को उपाध्यक्ष चुना गया। वह देश के इतिहास में पहले गैर-मुस्लिम उपाध्यक्ष बन गए हैं।इस बीच, यूनाइटेड कश्मीर पीपुल्स नेशनल पार्टी ने पाकिस्तान पुलिस द्वारा मुजफ्फराबाद डिवीजन में पार्टी के उपाध्यक्ष राशिद अहमद की गिरफ्तारी की कड़ी निंदा की है। पाकिस्तान में सोशल मीडिया प्लेटफार्म एक्स पर रोक आठवें दिन भी जारी रहा। इमरान खान की पार्टी पीटीआइ में नेतृत्व संकट के बीच बैरिस्टर अली जफर ने रविवार को पार्टी अध्यक्ष पद के लिए अपना नाम वापस ले लिया। पीटीआइ अध्यक्ष के लिए बैरिस्टर गौहर अली खान ने पार्टी के आंतरिक चुनाव से पहले बैरिस्टर अली जफर के नाम की घोषणा की थी। बैरिस्टर अली जफर ने कहा कि इमरान को जेल से बाहर लाने में जुटे होने के कारण पार्टी अध्यक्ष बनने पर हितों का टकराव होने की आशंका को देखते हुए वह मैदान से हट रहे हैं।
लाहौर । पूर्व प्रधानमंत्री नवाज़ शरीफ की बेटी मरियम नवाज जहां पाकिस्तान के पंजाब प्रांत की पहली महिला मुख्यमंत्री बनेंगी। वहीं, पाकिस्तान में नई सरकार के गठन की सुगबुगाहट के बीच पूर्व पीएम इमरान खान की पार्टी पीटीआई के समर्थन से जीते नेशनल असेंबली व प्रांतीय असेंबली के निर्दलीय सदस्य कट्टरपंथी सुन्नी इत्तेहाद काउंसिल में शामिल हो गए हैं। इससे वे महिलाओं व अल्पसंख्यकों के लिए आरक्षित सीटों के कोटे में हिस्सेदारी का दावा कर सकेंगे। पीटीआई समर्थित निर्दलियों ने इस आशय का हलफनामा चुनाव आयोग को सौंप दिया है।
मरियम पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री नवाज शरीफ की बेटी हैं। पंजाब पहला प्रांत है, जो अपना उद्घाटन सत्र शुक्रवार को बुला रहा है। गवर्नर हाउस के प्रवक्ता ने गुरुवार को बताया कि पंजाब के राज्यपाल बालीघुर रहमान ने शुक्रवार को पंजाब विधानसभा सत्र बुलाया है जिसमें विधानसभा के नवनिर्वाचित सदस्य शपथ लेंगे और नई सरकार का गठन शुरू होगा।
बता दें कि 50 वर्षीय मरियम पाकिस्तान मुस्लिम लीग-नवाज (पीएमएल-एन) पार्टी की वरिष्ठ उपाध्यक्ष हैं। उन्हें पीएमएल-एन सुप्रीमो नवाज शरीफ का राजनीतिक उत्तराधिकारी माना जाता है। नवाज शरीफ ने अपने छोटे भाई शहबाज शरीफ को अपनी पार्टी की तरफ से प्रधानमंत्री पद के उम्मीदवार के रूप में नामित किया है।
वहीं, पूर्व पीएम इमरान खान की पार्टी पीटीआई के समर्थन से जीते नेशनल असेंबली व प्रांतीय असेंबली के निर्दलीय सदस्य कट्टरपंथी सुन्नी इत्तेहाद काउंसिल में शामिल हो गए हैं। इससे वे महिलाओं व अल्पसंख्यकों के लिए आरक्षित सीटों के कोटे में हिस्सेदारी का दावा कर सकेंगे। पीटीआई समर्थित निर्दलियों ने बुधवार को इस आशय का हलफनामा चुनाव आयोग को सौंप दिया।
रिपोर्ट के अनुसार, नेशनल असेंबली के 89 सदस्यों, खैबर पख्तूनख्वा असेंबली के 85 सदस्यों, पंजाब असेंबली के 106 सदस्यों और सिंध असेंबली के नौ सदस्यों ने अपने हलफनामे जमा किए हैं। हालांकि, पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (पीटीआई) पार्टी के प्रमुख बैरिस्टर गौहर खान और प्रधानमंत्री पद के उम्मीदवार उमर अयूब खान सुन्नी इत्तेहाद काउंसिल (एसआईसी) में शामिल नहीं हुए। इसके अलावा खैबर-पख्तूनख्वा के मुख्यमंत्री पद के लिए पीटीआई उम्मीदवार अली अमीन गंडापुर ने भी एसआइसी की सदस्यता नहीं ली।
माना जा रहा है कि ये लोग एसआईसी में इसलिए नहीं शामिल हुए जिससे पार्टी के संगठनात्मक चुनावों में ये बड़े पदों के प्रत्याशी बन सकें। पीटीआई ने आगामी तीन मार्च को पार्टी के संगठनात्मक चुनाव कराने का एलान किया है।
इस्लामाबाद । पाकिस्तान में आम चुनाव के बाद किसी भी पार्टी को बहुमत नहीं मिलने के बाद जोड़ तोड़ में जुटी राजनीतिक पार्टियों ने आपसी सहमति से समाधान की तरफ बढ़ रही है। ताजा घटनाक्रम में पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी (पीपीपी) के अध्यक्ष बिलावल भुट्टो-जरदारी के प्रधानमंत्री पद की दौड़ से पीछे हटने के साथ ही पाकिस्तान मुस्लिम लीग (नवाज) के प्रमुख नवाज शरीफ के चौथी बार देश के प्रधानमंत्री बनने की संभावना बढ़ गई है। वहीं दोनों दलों के बीच आपसी सहमति के बीच बिलावल भुट्टो-जरदारी ने आसिफ अली जरदारी को राष्ट्रपति बनाने की वकालत की। उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि यह भावना केवल उनके पारिवारिक संबंधों के कारण नहीं है, बल्कि उनके इस विश्वास में निहित है कि, देश के सामने मौजूद मौजूदा महत्वपूर्ण संकट को देखते हुए, आसिफ अली जरदारी के पास चुनौतियों का समाधान करने और उन्हें कम करने की क्षमता है।
वहीं जेल में बंद पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान की पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (पीटीआई) पार्टी के समर्थित निर्दलीय उम्मीदवारों की संसद में सबसे अधिक सीटों पर जीतने के बाद भी सत्ता से दूर लग रही है।
बिलावल ने अपनी अध्यक्षता में हुई पीपीपी की उच्चाधिकार प्राप्त केंद्रीय कार्यकारी समिति की बैठक के बाद संवाददाता सम्मेलन में कहा कि उनकी पार्टी केंद्र में सरकार बनाने के लिए जनादेश प्राप्त करने में विफल रही। बिलावल (35) ने कहा, इस वजह से मैं खुद को पाकिस्तान के प्रधानमंत्री पद की दौड़ के लिए आगे नहीं रखूंगा। इससे पहले, पूर्व प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ ने एक बार फिर पुष्टि की कि पीएमएल(एन) के प्रमुख नवाज शरीफ (74) चौथी बार देश के प्रधानमंत्री बनेंगे। शहबाज ने संवाददाता सम्मेलन में कहा, मैंने कहा था कि नवाज शरीफ चौथी बार प्रधानमंत्री बनेंगे, और मैं आज भी इस बात पर कायम हूं कि वह चौथी बार प्रधानमंत्री बनने जा रहे हैं।
शहबाज शरीफ ने कहा कि उन्होंने बिलावल और उनके पिता आसिफ अली जरदारी से बात की है और नवाज शरीफ को समर्थन देने के लिए उन्हें धन्यवाद दिया है। उन्होंने ‘एक्स’ पर पोस्ट किया, ‘‘हमें उम्मीद है कि हम साथ मिलकर पाकिस्तान को सभी राजनीतिक और आर्थिक संकटों से बाहर निकालने में सक्षम होंगे, इंशाल्लाह।’’
सरकार गठन को लेकर पीएमएल-एन और मुत्ताहिदा कौमी मूवमेंट-पाकिस्तान (एमक्यूएम-पी) ने भी मंगलवार को बैठक की है। दोनों पार्टियां आपसी सहयोग से आगे बढ़ने पर सहमत हुईं और शहबाज शरीफ ने समर्थन के लिए एमक्यूएम-पी को धन्यवाद दिया। एमक्यूएम के संसद में 17 सांसद हैं।
शहबाज ने कहा कि पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ ने पीपीपी के साथ गठबंधन करने से इनकार कर दिया, जिसके बाद पीएमएल-एन एकमात्र ऐसी पार्टी रह गई, जिसने पीपीपी को सरकार में शामिल होने के लिए आमंत्रित किया है।
इमरान खान ने देश में किसी भी मुख्य राजनीतिक दल के साथ गठबंधन की सरकार बनाने के विचार को खारिज कर दिया और दावा किया कि काले धन को सफेद बनाने के काम में बड़े पैमाने पर लगे लोगों को सत्ता में लाने के प्रयास किए जा रहे हैं।
पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ के संस्थापक खान(71) ने रावलपिंडी की उच्च सुरक्षा वाली अडियाला जेल में संवाददाताओं से बात की। खान ने कहा कि पीएमएल-एन, पीपीपी और मुत्तहिदा कौमी मूवमेंट (एमक्यूएम) के साथ कोई बातचीत नहीं होगी लेकिन उन्होंने अन्य सभी पार्टियों और समूहों से संपर्क करने की इच्छा जताई है।
बिलावल ने कहा कि पार्टी ने सार्वजनिक महत्व के मुद्दों पर अभियान चलाकर राजनीतिक स्थिरता बहाल करने और मौजूदा विषाक्त राजनीतिक माहौल को समाप्त करने पर ध्यान केंद्रित किया है। पीपीपी पाकिस्तान के पीएम सहित महत्वपूर्ण वोटों का समर्थन करने और स्थिर सरकार के गठन को सुनिश्चित करने के लिए कई मुद्दों को संबोधित करने के लिए तैयार है।
इस्लामाबाद । पाकिस्तान की अवाम ने आम चुनाव में जेल में बंद पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान पर भरपूर प्यार लुटाया है। अब तक 250 सीटों का रिजल्ट घोषित किया जा चुका है। इनमें से खान की पार्टी पाकिस्तान-तहरीक-ए इंसाफ समर्थित 91 निर्दलीय चुनाव जीतकर सबसे आगे हैं।
पूर्व प्रधानमंत्री नवाज शरीफ की पाकिस्तान मुस्लिम लीग (एन) पार्टी को 71 सीटें मिली हैं। अब मात्र 15 सीटों का रिजल्ट आना बाकी है। मुल्क में नेशनल असेंबली की 336 सीटों में से 266 पर मतदान कराया जाता है। बाजौर के हमले में एक उम्मीदवार की मौत हो जाने के बाद एक सीट पर मतदान स्थगित कर दिया गया था। बिलावल जरदारी भुट्टो की पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी (पीपीपी) को मात्र 53 सीटें मिली हैं। जेयूआईएफ को दो और अन्य के खाते में 33 सीटें गई हैं।
पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान जेल में बंद हैं और उनके चुनाव लड़ने पर प्रतिबंध है। इसलिए 71 वर्षीय खान की पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ के उम्मीदवार निर्दलीय के तौर पर चुनाव लड़े, क्योंकि सुप्रीम कोर्ट ने पार्टी को चुनाव चिह्न क्रिकेट का ‘बल्ला’ से वंचित करने के निर्वाचन आयोग के फैसले को बरकरार रखा था। मतगणना के नतीजों से अब यह साफ हो गया है कि नई सरकार बनाने के लिए जरूरी 133 सीट किसी के पास नहीं हैं। जोड़तोड़ से ही नई सरकार का गठन होगा।
पाकिस्तान चुनाव : नवाज शरीफ का ऐलान- ‘हम गठबंधन की सरकार बनाएंगे-दुनिया से रिश्ते ठीक करेंगे’
इस्लामाबाद। पाकिस्तान में चुनाव परिणाम लगभग सामने आ गए हैं। पड़ोसी देश में हुए चुनाव में किसी भी दल को बहुमत नहीं मिला है। हालांकि, इस बीच पाकिस्तान मुस्लिम लीग (एन) पार्टी के नेता और पाकिस्तान के पूर्व पीएम नवाज शरीफ ने समर्थकों को संबोधित करते हुए बड़ा ऐलान कर दिया है। नवाज शरीफ ने कहा है कि उनकी पार्टी को चुनाव में सबसे ज्यादा सीटें मिली हैं। इसलिए वह अन्य पार्टियों के साथ मिलकर गठबंधन की सरकार बनाएंगे। नवाज ने कहा है कि वह सभी पार्टियों के साथ मिलकर पाकिस्तान को घायल अवस्था से बाहर निकालेंगे। इसके साथ ही उन्होंने दुनिया भर से पाकिस्तान के रिश्ते बेहतर करने की बात भी कही है।
दुनियाभर से अपने सभी मुद्दे सुलझाएंगे
पाकिस्तान के पूर्व पीएम और पाकिस्तान मुस्लिम लीग (एन) के नेता नवाज शरीफ ने अपने समर्थकों को संबोधित करते हुए कहा कि हम आप सभी को बधाई देते हैं क्योंकि पाकिस्तान मुस्लिम लीग (एन) सबसे बड़ी पार्टी बनकर उभरी है। उन्होंने कहा कि हम हर पार्टी को दिए गए जनादेश का सम्मान करते हैं। हम उन्हें घायल पाकिस्तान को संकट से बाहर निकालने के लिए उन्हें हमारे साथ बैठने के लिए आमंत्रित करते हैं। नवाज शरीफ ने आगे कहा कि हम चाहते हैं कि दुनिया के साथ हमारे रिश्ते बेहतर हों, हम उनके साथ अपने रिश्ते सुधारेंगे और उनके साथ अपने सभी मुद्दे सुलझाएंगे।
शहबाज को दी गठबंधन की जिम्मेदारी
पाकिस्तान के पूर्व पीएम नवाज शरीफ ने अपने भाषण में कहा कि हमारे पास अपने दम पर सरकार बनाने के लिए बहुमत नहीं है। इसलिए, हम अन्य पार्टियों को आमंत्रित करेंगे कि हम साथ मिलकर सरकार बनाएं। उन्होंने बताया कि मैंने शहबाज शरीफ को काम सौंपा है कि वे आसिफ जरदारी, फजल-उर-रहमान, एमक्यूएम, डॉ. सिद्दीकी से मिलें और उन्हें बताएं कि पाकिस्तान की मौजूदा स्थिति की मांग है कि हम मिलकर देश को संकट से बाहर निकालें।
हम बार-बार चुनाव नहीं करा सकते- नवाज
डॉन न्यूज के मुताबिक, नवाज शरीफ ने कहा है कि हम बार-बार चुनाव नहीं करा सकते। उन्होंने कहा कि हम सब कल एक साथ बैठे थे लेकिन नतीजे नहीं आने के कारण आपको संबोधित नहीं किया। इस देश में जितनी भी संस्थाएं हैं, सबको मिलकर पाकिस्तान को इस संकट से बाहर निकालने में सकारात्मक भूमिका निभानी चाहिए। पाकिस्तान चुनाव आयोग द्वारा शाम 7 बजे साझा किए गए आंकड़ों के अनुसार, पीटीआई समर्थित उम्मीदवार 89 सीटों पर जबकि पीएमएल-एन उम्मीदवार 60 सीटों पर आगे चल रहे थे। बिलावल भुट्टो की पार्टी 47 सीटों पर और जेयूआई-एफ 1 सीट पर आगे थी।
इस्लामाबाद । पाकिस्तान में आम चुनाव के लिए गुरुवार सुबह 8 बजे मतदान शुरू हो गया जो शाम 5 बजे समाप्त होगा। चुनाव की पूर्व संध्या पर हुई हिंसक घटनाओं को देखते हुए लगभग 6,50,000 सुरक्षाकर्मी तैनात किए गए हैं। साथ ही मतदान के दौरान टेलीफोन सेवा बंद कर दी गई है। बुधवार को बलूचिस्तान प्रांत में चुनाव कार्यालयों को निशाना बनाकर किए गए दो बम धमाकों में कम से कम 25 लोग मारे गए और 42 अन्य घायल हो गए।
आज हो रहे मतदान में 74 वर्षीय शरीफ की नजर रिकॉर्ड चौथी बार प्रधानमंत्री बनने पर होगी। पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान के जेल में होने के कारण शरीफ की पाकिस्तान मुस्लिम लीग-नवाज (पीएमएल-एन) चुनाव में सबसे बड़ी पार्टी बनकर उभर सकती है। नवाज शरीफ को सेना का समर्थन प्राप्त है।
इमरान खान की पार्टी पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (पीटीआई) के उम्मीदवार निर्दलीय के रूप से चुनाव लड़ रहे हैं क्योंकि उच्चतम न्यायालय ने उनकी पार्टी को उसके चुनाव चिह्न क्रिकेट ‘बल्ला’ से वंचित करने संबंधी निर्वाचन आयोग के फैसले को बरकरार रखा है।
इस चुनावी मुकाबले में बिलावल भुट्टो-जरदारी की पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी (पीपीपी) भी शामिल है। बिलावल भुट्टो-जरदारी को पार्टी की ओर से प्रधानमंत्री पद का चेहरा घोषित किया गया है।
नेशनल एसेंबली की 266 सीटों के लिए शुरू हुए चुनाव में 12.85 करोड़ से अधिक पंजीकृत मतदाता मतदान कर रहे हैं। पाकिस्तान निर्वाचन आयोग (ईसीपी) के अनुसार कुल 12,85,85,760 पंजीकृत मतदाता वोट देने के पात्र हैं। आयोग के आंकड़ों के अनुसार, पंजाब में सबसे अधिक 7,32,07,896 पंजीकृत मतदाता हैं, इसके बाद सिंध में 2,69,94,769, खैबर पख्तूनख्वा में 2,19,28,119, बलूचिस्तान में 53,71,947 और राजधानी इस्लामाबाद में 10,83,029 मतदाता हैं।
नेशनल असेंबली के लिए 5,121 उम्मीदवार चुनाव मैदान में हैं जिनमें से 4,807 पुरुष, 312 महिलाएं और दो ट्रांसजेंडर शामिल हैं। चार प्रांतीय विधानसभाओं के लिए 12,695 उम्मीदवार मैदान में हैं, जिनमें 12,123 पुरुष, 570 महिलाएं और दो ट्रांसजेंडर शामिल हैं।
ईसीपी ने देशभर में 9,07,675 मतदान केंद्र स्थापित किए हैं, जिनमें पुरुष मतदाताओं के लिए 25,320, महिलाओं के लिए 23,952 और अन्य 41,403 मिश्रित मतदान केंद्र शामिल हैं।
निर्वाचन आयोग के अनुसार, 44,000 मतदान केंद्र सामान्य हैं जबकि 29,985 को संवेदनशील और 16,766 को अत्यधिक संवेदनशील घोषित किया गया है।
मतदाताओं की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए लगभग 6,50,000 सुरक्षाकर्मी तैनात किए गए हैं। इनमें पुलिस, नागरिक सशस्त्र बल और सशस्त्र बल के जवान शामिल हैं। ईसीपी के एक अधिकारी ने बताया कि पीठासीन अधिकारी, जिन्हें पहले ही मजिस्ट्रेट की विशेष शक्तियां दी गई हैं, पुलिस और सैन्यकर्मियों की सुरक्षा में मतदान सामग्री को मतदान केंद्रों तक ले जाएंगे।
पाकिस्तान : नवाज शरीफ दो सीटों से लड़ेंगे चुनाव , इमरान की पार्टी के 90 फीसदी नामांकन खारिज
लाहौर । पाकिस्तान में इस साल होने वाले आम चुनाव के नतीजे वोट पड़ने से पहले ही नज़र आने लगे हैं। पूर्व प्रधानमंत्री नवाज शरीफ दो जगहों से चुनाव मैदान में उतरेंगे। वहीं पूर्व पीएम इमरान खान की पार्टी पीटीआई को हराने के पक्के इंतज़ाम किये जा रहे हैं। पीटीआई के 90 फीसदी नेताओं के नामांकन कोई न कोई कमी निकालकर खारिज कर दिए गए हैं। चुनाव अधिकारीयों के इस रवैये से विपक्षी दलों में खासी नाराज़गी है।
पाकिस्तान चुनाव आयोग ने लाहौर असेंबली सीट से नवाज शरीफ के नामांकन पत्र को स्वीकार लिया है। वहीं इसके खिलाफ जेल में बंद पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान की पार्टी पीटीआई ने कोर्ट में चुनौती दी है। पीटीआई नेताओं का इसके पीछे तर्क है कि सुप्रीम कोर्ट ने पूर्व प्रधानमंत्री शरीफ को 2017 में आजीवन अयोग्य घोषित किया था। हालांकि, चुनाव आयोग ने मानसाहारा और लाहौर की दो नेशनल असेंबली सीटों से नवाज शरीफ की उम्मीदवारी को मंजूरी दे दी है।
दरअसल, पाकिस्तान के चुनाव आयोग ने इमरान खान और उनकी पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ पार्टी के 90 प्रतिशत महत्वपूर्ण नेताओं के नामांकन पत्रों को खारिज कर दिया है। इस कार्रवाई को लेकर पीटीआई ने अपीलीय कोर्ट में चुनौती दी है।
पाकिस्तानी आर्मी के निर्देश पर हुआ है। सोमवार को पूर्व विदेश मंत्री शाह महमूद क़ुरैशी, पीटीआई अध्यक्ष चौधरी परवेज इलाही, पूर्व गृह मंत्री मूनिस इलाही और जरताज गुल सहित कई पीटीआई नेताओं ने हाई कोर्ट के चुनाव न्यायाधिकरणों में अपने नामांकन पत्र को खारिज करने को लेकर चुनौती दी।
देश के रिटर्निंग अधिकारियों ने राष्ट्रीय और प्रांतीय असेंबली सीटों के लिए रिकॉर्ड 3,500 से ज्यादा उम्मीदवारों के नामांकन पत्र खारिज किए हैं। पीटीआई के वकील इश्तियाक अहमद ने सुप्रीम कोर्ट द्वारा आजीवन अयोग्य घोषित किए जाने पर नवाज शरीफ की उम्मीदवारी को चुनौती दी। उन्होंने लाहौर हाई कोर्ट के अपीलीय न्यायाधिकरण में अपील दायर की।
इश्तियाक अहमद ने कहा कि नवाज शरीफ के नामांकन पत्र को स्वीकार करना अवैध और गैरकानूनी है क्योंकि 2017 में सुप्रीम कोर्ट ने पनामा पेपर्स मामले में उन्हें जीवन भर के लिए अयोग्य घोषित कर दिया था। नवाज शरीफ 8 फरवरी का चुनाव नहीं लड़ सकते। सैन्य प्रतिष्ठान द्वारा पहले से ही शरीफ को चौथी बार प्रधानमंत्री के रूप में पेश किया जा रहा है।
बता दें कि पाकिस्तानी आर्मी नवाज शरीफ को देश का अगला प्रधानमंत्री बनाना चाहती है।
इस्लामाबाद । पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी (पीपीपी) ने पार्टी अध्यक्ष बिलावल भुट्टो को आम चुनाव में प्रधानमंत्री पद का उम्मीदवार घोषित किया है। पार्टी ने कहा कि बिलावल भुट्टो के पिता आसिफ अली जरदारी राष्ट्रपति पद के उम्मीदवार होंगे।
पीपीपी ने यह घोषणा पाकिस्तान मुस्लिम लीग-नवाज (पीएमएन-एल) पार्टी द्वारा हाल में पूर्व प्रधानमंत्री नवाज शरीफ के प्रधानमंत्री पद का उम्मीदवार होने का ऐलान किये जाने के बाद किया है। मीडिया को संबोधित करते हुए पीपीपी के सूचना सचिव फैसल करीम कुंडी ने कहा कि बिलावल प्रधानमंत्री पद के उम्मीदवार होंगे और ‘‘हमारी यह इच्छा कि हम 2008 को फिर से दोहराएं और आसिफ जरदारी को राष्ट्रपति बनाएं। उन्होंने कहा कि पीपीपी चुनाव के लिए ‘‘पूरी तरह से तैयार’’ है।
आसिफ जरदारी वर्ष 2008 में हुए चुनावों के बाद पाकिस्तान के राष्ट्रपति बने थे और वह 2013 तक इस पद पर रहे थे। बिलावल ने अप्रैल 2022 से अगस्त 2023 तक विदेश मंत्री के रूप में कार्य किया था।
इस्लामाबाद। पाकिस्तान के तीन बार प्रधानमंत्री रहे नवाज शरीफ चार साल बाद लंदन से शनिवार दोपहर को अपने देश लौट आए। पाकिस्तान मुस्लिम लीग (नवाज) के प्रमुख नवाज शरीफ के स्वागत के लिए इस्लामाबाद एयरपोर्ट पर पूर्व विधि मंत्री आजम तरार समेत पार्टी के कई प्रमुख नेता मौजूद रहे। पीएमएल-(एन) के वरिष्ठ नेता इशाक डार के मुताबिक नवाज शरीफ आज ही इस्लामाबाद से लाहौर जाएंगे और शाम 05 बजे मीनार-ए-पाकिस्तान पर पार्टी की एक जनसभा को बतौर मुख्य वक्ता संबोधित करेंगे। इशाक डार के मुताबिक नवाज शरीफ लंदन से दुबई होते हुए इस्लामाबाद पहुंचे हैं।
नवाज ऐसे समय में पाकिस्तान लौटे हैं, जब देश में आम चुनाव की घोषणा कर दी गई है। पाकिस्तान में अगले साल जनवरी के अंतिम सप्ताह तक चुनावी प्रक्रिया पूरी कर ली जाएगी। फिलहाल पाकिस्तान के प्रशासनिक कामकाज की कमान कार्यवाहक प्रधानमंत्री के रूप में अनवार-उल-हक काकड़ संभाल रहे हैं। पाकिस्तान के लिए उड़ान भरने से पहले दुबई एयरपोर्ट पर नवाज ने पत्रकारों से कहा कि वो अल्लाह पर सब कुछ छोड़कर पाकिस्तान जा रहे हैं। उन्होंने पाकिस्तान के मौजूदा हालात पर चिंता जताई। उन्होंने कहा कि देश के हालात 2017 की तुलना में कहीं अधिक बिगड़ गए हैं। हमारा देश आगे बढ़ने के बजाय पीछे चला गया है।
भ्रष्टाचार के दो मामलों में दोषी ठहराए जाने के बाद नवाज को वर्ष 2018 में कोर्ट ने चुनाव लड़ने के लिए अयोग्य करार दिया था। जेल में बंद नवाज को वर्ष 2019 में तबीयत बिगड़ने के बाद कोर्ट ने इलाज के लिए विदेश जाने की अनुमति दी थी। इसके बाद वह लंदन में रहकर अपना इलाज करा रहे थे और गिरफ्तारी के डर से पाकिस्तान नहीं लौटे थे। तीन दिन पहले ही इस्लामाबाद हाईकोर्ट ने नवाज शरीफ की वतन वापसी का रास्ता साफ किया था। हाईकोर्ट ने नवाज को भ्रष्टाचार के दोनों ही मामलों में सुरक्षात्मक जमानत दे दी, यानी अब उनको जेल नहीं भेजा जाएगा। कोर्ट से राहत मिलने के बाद वो करीब चार साल बाद अपने वतन वापस आए हैं।
73 वर्षीय नवाज पाकिस्तान के वरिष्ठ नेताओं में शुमार हैं। पाकिस्तान की राजनीति में उनके परिवार की अच्छी दखल है। नवाज और उनके छोटे भाई शहबाज शरीफ दोनों प्रधानमंत्री रह चुके हैं। दोनों ही भाई पंजाब प्रांत के मुख्यमंत्री भी रहे हैं। वर्ष 1990 में नवाज पहली बार प्रधानमंत्री बने थे। इसके बाद 1997 और 2013 में क्रमशः दूसरी और तीसरी बार प्रधानमंत्री चुने गए। पाकिस्तान में उनकी गैरमौजूदगी में पार्टी की कमान उनकी बेटी मरियम नवाज और भाई शहबाज संभाल रहे थे।