डेस मोइनेस (आयोवा )। अमेरिकी प्रांत आयोवा में मिली जीत से पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प गदगद हैं। उन्होंने जीत का जश्न मनाते हुए कहा कि वह अमेरिका की सेवा के लिए बने हैं। ट्रम्प ने 2024 के चुनाव के पहले रिपब्लिकन प्राइमरी आयोवा कॉकस में शानदार जीत हासिल की। उन्हें 51 प्रतिशत वोट मिले हैं। यह जीत उनकी रिपब्लिकन पार्टी पर स्थायी पकड़ का स्पष्ट संकेत है।
द न्यूयॉर्क टाइम्स की रिपोर्ट के अनुसार, ट्रम्प की जीत के 30 अंकों के अंतर ने आयोवा रिपब्लिकन कॉकस में प्रतिस्पर्धा का एक रिकॉर्ड बनाया है। रिपोर्ट के अनुसार, बावजूद इसके ट्रम्प को पूरे साल अदालती तारीखों का सामना करना होगा। उनके खिलाफ 91 मामले दर्ज हैं। वह कल मानहानि मुकदमे के सिलसिले में न्यूयॉर्क कोर्ट हाउस में उपस्थित हुए। यह मुकदमा लेखिका ई. जीन कैरोल से संबंधित है। कैरोल ने पूर्व राष्ट्रपति पर बलात्कार का आरोप लगाया है। इसके बाद ट्रम्प एक रैली के लिए न्यू हैम्पशायर चले गए।
इस बीच डोनाल्ड ट्रम्प ने सोशल मीडिया पर एक वीडियो जारी कर दावा किया कि ईश्वर ने उन्हें अमेरिका का ध्यान रखने के लिए ही बनाया है। तीन मिनट के वीडियो में उन्होंने कहा है कि 14 जून, 1964 को भगवान ने सोचा कि अमेरिका को एक केयर टेकर की जरूरत होगी, इसी वजह उन्हें पैदा किया गया । अमेरिका को एक मजबूत और साहसी इंसान की जरूरत है, जो भेड़ियों से न डरे। आयोवा में जीत के बाद ट्रंप ने मतभेदों को भुलाकर अमेरिका को बाइडेन के कब्जे से आजाद कराने की अपील की है। उन्होंने इसके लिए सभी रिपब्लिकन उम्मीदवारों से समर्थन करने की अपील की है।
EX PRESIDENT DONALD TRUMP
ट्रम्प को एक और झटका झटका, अमेरिकी राज्य मेन ने भी राष्ट्रपति चुनाव के लिए अयोग्य ठहराया
वाशिंगटन । अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प की उम्मीदों को फिर बड़ा झटका लगा है। दोबारा राष्ट्रपति बनने का सपना देख रहे ट्रम्प को लेकर अमेरिकी राज्य मेन की शीर्ष चुनाव अधिकारी ने फैसला सुनाया है कि वे 2024 में होने वाले राष्ट्रपति चुनाव में शामिल नहीं हो सकते।
मेन राज्य की सेक्रेटरी ऑफ स्टेट शेना ली बेलोज ने 2021 के कैपिटल हिल दंगे में ट्रम्प की भूमिका को लेकर यह फैसला सुनाया है। बेलोज ने 34 पन्नों के फैसले में लिखा है कि अमेरिकी संविधान हमारी सरकार की नींव पर हमले को बर्दाश्त नहीं करता। निष्कर्ष निकाला गया है कि ट्रम्प ने 2020 के राष्ट्रपति चुनाव में झूठे दावे के जरिये विद्रोह को उकसाया और अपने समर्थकों से यूएस कैपिटल पर मार्च का आह्वान किया। इस फैसले के बाद रिपब्लिकन पार्टी से राष्ट्रपति पद के उम्मीदवार बनने के लिए ट्रम्प अमेरिकी राज्य मेन में होने वाले प्राइमरी चुनाव में भाग नहीं ले सकते।
मेन दूसरा राज्य है जिसने ट्रम्प को चुनाव में हिस्सा लेने से प्रतिबंधित किया है। इससे पहले अमेरिका के एक अन्य राज्य कोलोराडो भी ऐसा आदेश दे चुका है। कोलोराडो की शीर्ष अदालत ने 19 दिसंबर को ट्रम्प को राज्य के प्राथमिक मतदान से अयोग्य घोषित किया था। इस फैसले के खिलाफ ट्रम्प ने अमेरिका के सुप्रीम कोर्ट में अपील दायर कर उन्हें अयोग्य करार दिए जाने को अलोकतांत्रिक बताया।
अमेरिकी राष्ट्रपति का चुनाव लड़ने के लिए डोनाल्ड ट्रम्प अयोग्य करार , कैपिटल हिंसा मामले में अदालत ने अयोग्य ठहराया
वाशिंगटन । दोबारा अमेरिकी राष्ट्रपति बनने की होड़ में शामिल डोनाल्ड ट्रम्प को बड़ा झटका लगा है। मंगलवार को कोलोराडो प्रांत की प्रमुख अदालत ने यूएस कैपिटल हिंसा मामले में ट्रम्प को राष्ट्रपति पद के लिए अयोग्य करार दिया है। अदालत ने रिपब्लिकन पार्टी की तरफ से व्हाइट हाउस की दौड़ के लिए प्रमुख उम्मीदवार ट्रम्प को राष्ट्रपति पद के लिए राज्य के प्राथमिक मतदान से हटा दिया है। अमेरिकी इतिहास में राष्ट्रपति पद के उम्मीदवार को अयोग्य ठहराए जाने का यह पहला मामला है।
कोलोराडो हाई कोर्ट ने 4-3 के बहुमत वाले अपने फैसले में कहा कि ट्रंप 14वें संशोधन की धारा-3 के तहत राष्ट्रपति पद संभालने के अयोग्य हैं। कोलोराडो प्रांत के हाई कोर्ट ने जिला अदालत के निर्णय को पलटते हुए यह आदेश दिया। जिला अदालत ने कहा था कि ट्रम्प ने 6 जनवरी 2021 को अमेरिकी संसद पर हुए हमले के लिए भीड़ को हिंसा के लिए उकसाया था लेकिन ट्रम्प को राष्ट्रपति चुनाव में हिस्सा लेने से नहीं रोका जा सकता क्योंकि यह साफ नहीं है कि संविधान की धारा राष्ट्रपति पद को कवर करती है।
गौरतलब है कि वर्ष 2021 में अमेरिकी राष्ट्रपति चुनाव में ट्रम्प की हार के बाद उनके समर्थकों ने 6 जनवरी 2021 को यूएस कैपिटल (अमेरिकी संसद) पर हमला कर दिया था। उनके हजारों समर्थक संसद भवन के भीतर घुसकर जमकर हिंसा व तोड़फोड़ कर दी थी। हिंसा में पांच लोगों की मौत हो गई। ट्रम्प पर समर्थकों को संसद भवन में घुस कर हिंसा के लिए भड़काने का आरोप लगा था।
न्यू हैंपशायर । पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपति और रिपब्लिकन पार्टी के नेता डोनाल्ड ट्रंप ने शनिवार को एक बार फिर विवादित बयान दिया है। उन्होंने अपने ताजा बयान में बिना दस्तावेज वाले प्रवासियों को देश के खून में जहर घोलने वाला बताया है।
रिपब्लिकन पार्टी के राष्ट्रपति पद उम्मीदवार के दावेदार डोनाल्ड ट्रंप ने न्यू हैंपशायर में एक अभियान कार्यक्रम के दौरान अप्रवासियों को लेकर टिप्पणी की। उन्होंने अवैध रूप से अमेरिकी सीमा पार करने का प्रयास करने वाले प्रवासियों की रिकॉर्ड संख्या को लेकर आलोचना की। ट्रंप ने राष्ट्रपति चुने जाने पर अवैध अप्रवासन पर नकेल कसने का वादा किया।
ट्रंप ने डरहम में एक रैली के दौरान कहा कि वे हमारे देश के खून में जहर घोल रहे हैं। उन्होंने कहा कि अप्रवासी दक्षिण अमेरिका के अलावा एशिया और अफ्रीका से अमेरिका आ रहे थे। पूरी दुनिया से वे हमारे देश में आ रहे हैं। सितंबर के अंत में प्रकाशित एक दक्षिणपंथी वेबसाइट द नेशनल पल्स के साथ एक इंटरव्यू के दौरान भी ट्रंप ने खून में जहर घोलने वाली बात कही थी।
पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के खिलाफ अब तक का सबसे गंभीर अभियोग, कल कोर्ट में होगी पेशी
वाशिंगटन । अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के खिलाफ अब तक का सबसे गंभीर आधिकारिक अभियोग दर्ज हुआ है। इसमें दावा किया गया है कि उन्होंने 2020 के चुनाव परिणाम को पलटने के प्रयास किए। ट्रंप गुरुवार शाम कोर्ट में पेश होंगे।
स्पेशल काउंसिल जैक स्मिथ ने मंगलवार को इस अभियोग पर लगाए गए आरोपों की जानकारी दी। उन्होंने कहा ट्रंप ने जो बाइडन से पराजित होने के बावजूद सत्ता में बने रहने के लिए वोटर्स से ‘जानबूझकर झूठे’ दावे किए। उल्लेखनीय है कि चार माह में यह तीसरी बार है जब ट्रंप पर आरोप तय किए गए हैं। इस बार ताजा अभियोग में ट्रंप पर चार आरोप लगाए गए हैं। पहला- सरकारी कार्यवाही में बाधा डालने की साजिश। दूसरा-अमेरिका को धोखा देने की साजिश। तीसरा- किसी आधिकारिक कार्यवाही में बाधा डालना। चौथा-अधिकारों का दुरुपयोग। इन ताजा आरोपों में ट्रंप को दोषी ठहराया जा सकता है।
बावजूद इसके वह 2024 का राष्ट्रपति चुनाव लड़ सकते हैं। वह रिपब्लिकन पार्टी का उम्मीदवार बनने की दौड़ में फिलहाल सबसे आगे हैं। अभियोग में छह साजिशकर्ताओं का जिक्र किया गया है लेकिन दस्तावेज में उनके नाम नहीं हैं। अनुमान है कि इसमें ट्रंप के पूर्व निजी वकील रूडी गिउलिआनी, न्याय विभाग के पूर्व अधिकारी जेफरी क्लार्क और ट्रंप सहयोगी पूर्व वकील सिडनी पॉवेल शामिल हैं। जैक स्मिथ ने कहा- 6 जनवरी, 2021 को हमारे देश की संसद पर हमला अमेरिकी लोकतंत्र पर हमला था। उन्होंने कहा ट्रंप गुरुवार शाम कोर्ट में पेश होंगे। उधर, ट्रंप ने इन आरोपों को राजनीति से प्रेरित बताया है।