नई दिल्ली। दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल ने तीन साल पहले पूर्वी दिल्ली में हुए दंगे में हेड कांस्टेबल रतन लाल की हत्या के मामले में मुख्य षड्यंत्रकारी को गिरफ्तार कर लिया है। इसकी गिरफ्तारी पर एक लाख का इनाम घोषित था। आरोपित तीन साल से ज्यादा समय से फरार चल रहा था और दिल्ली पुलिस का वांछित था। इसे भगोड़ा भी घोषित किया जा चुका था।
आरोपित की पहचान मोहम्मद अयाज के रूप में हुई है, जो चांद बाग दिल्ली का रहने वाला है। स्पेशल सेल के स्पेशल सीपी एचएस धालीवाल ने बताया कि इसे कर्नाटक के बेंगलुरु क्षेत्र से गिरफ्तार किया गया।
जनवरी 2020 में उत्तर पूर्वी जिले में हुए दंगे में जहां हेड कांस्टेबल रतन लाल की हत्या कर दी गई थी, वहीं डीसीपी शाहदरा अमित शर्मा और एसीपी गोकुलपुरी अनुज कुमार गंभीर रूप से घायल हो गए थे। उस मामले में षड्यंत्रकारी मोहम्मद अयाज अपने भाई खालिद और दूसरे साथियों के संग मिलकर सीए और एनआरसी का विरोध कर रहा था।
चांद बाग इलाके में ईंट, पत्थरों और लोहे की रॉड से पुलिसकर्मियों पर जानलेवा हमला किया गया था। यह सनसनीखेज मामला 24 फरवरी, 2020 का है। उस मामले में दयालपुर थाने में एफआईआर दर्ज की गई थी। इसे गिरफ्तार करने के लिए काफी समय से पुलिस की टीम लगी हुई थी लेकिन इसका लोकेशन सही से पता नहीं चल पा रहा था।
आखिरकार जून के पहले सप्ताह में स्पेशल सेल की टीम को पता चल गया कि मोहम्मद अयाज बेंगलुरु से 100 किलोमीटर आगे चिकबलपुर जिले के एक गांव में छुपा हुआ है। स्पेशल सेल की टीम वहां पहुंची और फिर इलाके में ट्रेप लगाकर आरोपित को दबोच लिया।