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स्वास्थ्य मंत्री डॉ. विजय सिंगला ने कुबूला आरोप, कमीशन मांगने की हुई रिकॉर्डिंग

by City Headline

पंजाब में आम आदमी पार्टी (AAP) की सरकार में स्वास्थ्य मंत्री रहे डॉ. विजय सिंगला को कैबिनेट से बर्खास्त कर दिया गया है। CM मान ने कहा कि सिंगला स्वास्थ्य विभाग में हर काम और टेंडर के बदले 1% कमीशन मांग रहे थे। बर्खास्तगी के बाद पंजाब पुलिस के एंटी करप्शन विंग ने सिंगला के खिलाफ केस दर्ज कर उन्हें गिरफ्तार कर लिया है। उनसे मोहाली के फेज 8 पुलिस थाने में सीनियर अफसरों ने विस्तार से पूछताछ की। थोड़ी देर में उन्हें मोहाली कोर्ट में पेश किया जाएगा।

खास बात यह है कि पंजाब का स्वास्थ्य मंत्री रहते हुए विजय सिंगला ने 28 मार्च को कहा था कि वे भ्रष्टाचार बर्दाश्त नहीं करेंगे। उन्होंने करप्शन पर जीरो टॉलरेंस का दावा भी किया था। उस बयान के ठीक 57 दिन बाद यानी 24 मई को CM भगवंत मान ने करप्शन के मामले में ही उन्हें पद से हटा दिया। सिंगला के भ्रष्टाचार की शिकायत CM भगवंत मान तक पहुंची थी। उन्होंने गुपचुप तरीके से इसकी जांच कराई है।

अफसरों से पूछताछ की, फिर मंत्री सिंगला को तलब किया गया। मंत्री ने गलती मान ली, इसके बाद उन्हें बर्खास्त किया गया। इधर, दिल्ली के मुख्यमंत्री और AAP के संयोजक अरविंद केजरीवाल ने CM भगवंत मान की तारीफ करते हुए कहा है कि उन्हें इस फैसले पर गर्व है। FIR के मुताबिक SE राजिंदर सिंह ने केस दर्ज करवाया है। उन्होंने बताया कि वह पंजाब हेल्थ सिस्टम कार्पोरेशन में फेज 8 में बतौर निगरान इंजीनियर तैनात हैं।

बता दें कि एक महीने पहले उन्हें हेल्थ मिनिस्टर विजय सिंगला के OSD प्रदीप कुमार ने पंजाब भवन के कमरा नंबर 203 में बुलाया गया था। यहां पर मंत्री विजय सिंगला और OSD प्रदीप कुमार मौजूद थे। मंत्री सिंगला ने मुझे कहा कि प्रदीप कुमार जो बात करेगा, उसे समझना कि मैं ही बात कर रहा हूं। मैं जल्दी में हूं और जा रहा हूं। इसके बाद प्रदीप कुमार ने मुझे कहा कि तुम्हारी तरफ से 41 करोड़ के कंस्ट्रक्शन वर्क की अलॉटमेंट जारी की गई है। इसके अलावा मार्च महीने में ठेकेदारों को 17 करोड़ की पेमेंट की गई है। इस तरह कुल 58 करोड़ रकम का 2% कमीशन 1.16 करोड़ बतौर रिश्वत दिया जाए।

मैंने उन्हें कहा कि मैं यह काम नहीं कर सकता। मुझे बेशक मेरे विभाग में वापस भेज दिया जाए क्योंकि मैं डेपुटेशन पर हेल्थ विभाग में आया हूं। इसके बाद प्रदीप कुमार ने 8 मई, 10 मई, 12 मई, 13 मई और 23 मई को वॉट्सऐप पर कॉल की। जिसमें मुझे बार-बार बुलाकर रिश्वत की मांग की जाती रही। मुझे धमकी दी गई कि अगर रिश्वत नहीं दी तो मेरा करियर खराब कर देंगे। डिपार्टमेंट में मेरा नुकसान कर देंगे।

मैंने उन्हें गुजारिश की कि 30 नवंबर 2022 को मेरी रिटायरमेंट है। मेरा करियर खराब न करो। मुझे अपने विभाग में वापस भेज दो। जो अफसर रिश्वत दे सके, उसे डेपुटेशन पर ले आओ। आखिर में उन्होंने 20 मई को कहा कि हमें 10 लाख रुपए दे देना। आगे से जो भी काम अलॉट होगा या ठेकेदार को पेमेंट होगी तो उसमें से 1% रख लेना। मैंने इससे इनकार कर दिया। पुलिस ने मंत्री विजय सिंगला और OSD प्रदीप कुमार पर प्रिवेंशन ऑफ करप्शन एक्ट की धारा 7 और 8 के तहत केस दर्ज किया है।

पंजाब पुलिस के विजिलेंस विंग ने मंत्री सिंगला के खिलाफ केस दर्ज किया है। इसके मुताबिक मंत्री और उनके करीबियों ने टेंडर में 1% कमीशन की मांग की थी। अफसर ने इसकी शिकायत सीएम भगवंत मान को की। 14 मई को सीएम मान के पास इसके बारे में जानकारी पहुंची। इसके बाद मान ने अफसर को भरोसे में लिया। कमीशन मांगने की रिकॉर्डिंग करवाई गई। जिसमें मंत्री और उनके करीबियों की कमीशन मांगने की रिकॉर्डिंग हो गई। जिसके बाद मंत्री को बुलाकर मान ने उनके सामने यह सबूत रख दिए और मंत्री ने गलती कबूल कर ली।

मंत्री विजय सिंगला ने टेंडर के बदले शुक्राना के नाम पर कमीशन मांगा था। बठिंडा के ठेकेदार से यह शुक्राना मांगा गया था। जिसमें मंत्री सिंगला का करीबी रिश्तेदार भी शामिल है। पंजाब पुलिस के विजिलेंस ब्यूरो ने अब इस मामले में सिंगला के साथ कमीशनखोरी में शामिल रिश्तेदारों और करीबियों पर भी कार्यवाही शुरू कर दी है। विजिलेंस सिंगला के सवा 2 महीने के कार्यकाल में अब सारे प्रोजेक्टों की लिस्ट तैयार कर रही है। कहीं किसी में कोई कमीशन की बात तो नहीं है।

हेल्थ मिनिस्टर की बर्खास्तगी के बाद CM मान ने मंत्रियों की मीटिंग बुलाई। इसमें नए हेल्थ मिनिस्टर पर फैसला हो सकता है। वहीं सिंगला की आम आदमी पार्टी से भी छुट्‌टी करने की तैयारी है। सिंगला को हटाने के बाद सरकार में अब 9 मंत्री और मुख्यमंत्री रह गए हैं। मान सरकार 15 अगस्त से पंजाब में 75 मोहल्ला क्लीनिक बनाने जा रही है। उसके लिए सेहत विभाग की तैयारियां चल रही थी। अचानक हेल्थ मिनिस्टर को हटाने के बाद काम न रुके, इसके लिए सीएम मान किसी दूसरे मंत्री को इसका जिम्मा सौंप सकते हैं।

CM भगवंत मान ने बताया, ‘मेरे ध्यान में एक केस आया। इसमें मेरी सरकार का एक मंत्री हर टेंडर या उस विभाग की खरीद-फरोख्त में एक परसेंट कमीशन मांग रहा था। इस केस का सिर्फ मुझे पता है। इसके बारे में विरोधी पार्टियों और मीडिया को पता नहीं है। मैं चाहता तो केस को दबा सकता था, लेकिन इससे लोगों का विश्वास टूट जाता। मैं उस मंत्री के खिलाफ सख्त एक्शन ले रहा हूं। उसे मंत्रिमंडल से बर्खास्त कर दिया गया है। पुलिस को उसके खिलाफ केस दर्ज करने के लिए आदेश दे दिए हैं।

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