कानपुर। फूलबाग स्थित नानाराव में आयोजित वाल्मीकि जयंती कार्यक्रम में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के सरसंघचालक मोहन भागवन के पहुंचने के बाद वाल्मीकि समाज के लोगों ने उन्हें पगड़ी पहनाया। इसके साथ उन्हें रामायण और भगवान वाल्मीकि का चित्र भेंटकर स्वागत किया गया।
महर्षि वाल्मीकि जन्मोत्सव समिति के अध्यक्ष किशन लाल ने कहा कि राम के जीवन का परिचय कराने वाले भगवान वाल्मीकि एवं समाज के लिए चिन्तन करने वाले डॉ. भागवत आज हमारे बीच में आए हुए हैं। हम और हमारा पूरा वाल्मीकि समाज जिस तरह मर्यादा पुरूषोत्तम राम शबरी के घर पहुंचे और उनके जूठे बेर खाया और उन्होंने समानता का संदेश दिया। ठीक उसी तरह आज हमारा समाज गौरव महसूस कर रहा है। हमारे समाज के लोगों को आज मिठाई मिल गई है। हमारे देश को डॉ. भीमराव अम्बेडकर ने समता मूलक समाज पर आधारित ग्रन्थ दिया है। लेकिन राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के संस्थापक प्रथम सरसंघचालक ने समतामूलक समाज की परिकल्पना की है। जाति एवं वर्ग विहिन समाज तैयार करने के लिए लगातार संघ अनवरत एक दिशा में राष्ट्र को ले जाने के लिए अविरल बहने गंगा की तरह आगे बढ़ता जा रहा है।
उन्होंने कहा कि आर्थिक एवं राजनीतिक तौर पर आगे बढ़ाने के लिए हमारे समाज के लिए दया दृष्टि बनाए रखिये। हम भी आप की बगिया के ही फूल हैं। हम आप का दर्शन पाकर धन्य हो गए। हमारे साथ ही हमारा समाज आज गौरव महसूस कर रहा है।
कार्यक्रम में प्रमुख रूप से राष्ट्रीय स्वयसेवक संघ के कानपुर के प्रान्त प्रचारक श्रीराम , अरूण कुमार समुद्रे, डॉ.रतन लाल, प्रान्त प्रचार प्रमुख डॉ. अनुपम, मंत्री असीम अरूण, महापौर प्रमिला पाण्डेय,विधायक उपेन्द्र पासवान, स्वयं प्रकाश शर्मा तथा भारी संख्या में वाल्मीकि समाज के लोग उपस्थित रहे।