देहरादून। उत्तराखंड के अंकिता भंडारी मर्डर केस में भारतीय जनता पार्टी के नेता के पुत्र की संलिप्तता का मामला सामने आने के बाद भाजपा नेतृत्व ने मुख्य आरोपी पुलकित आर्या के पिता और भाई को पार्टी से निकाल दिया है। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के निर्देश पर भाई अंकित आर्या को पिछड़ा वर्ग आयोग के उपाध्यक्ष पद से भी हटा दिया गया है। इस बीच गुस्साए लोगों ने मुख्य आरोपी पुलकित आर्या के रिजार्ट को आग लगा दी और मामले को लेकर खूब हंगामा किया।
पिछड़ा वर्ग आयोग के उपाध्यक्ष पद पर नियुक्त अंकित आर्या को राज्य मंत्री का दर्जा मिला हुआ था। भाजपा ने अपनी पार्टी के नेता विनोद आर्या को दल से निकालने की कार्रवाई अंकिता भंडारी मर्डर केस के तूल पकड़ने के बाद की। ऋषिकेश पुलिस ने बीती 18 सितंबर से लापता अंकिता भंडारी केस में शुक्रवार को मुख्य आरोपी पुलकित आर्या के अलावा दो अन्य आरेपियों को गिरफ्तार कर लिया था। आरोपियों से पूछताछ के बाद शनिवार को नहर से अंकिता का शव भी बरामद कर लिया गया। उसका पोस्टमार्टम डॉक्टरों के दल द्वारा किया जा रहा है।
उत्तराखंड के इस मामले का शर्मनाक पहलू यह है कि भाजपा नेता के बेटे पुलकित आर्या पर अपने रिजार्ट में देह व्यापार का धंधा करने का आरोप लग रहा है। यह आरोप लगाया जा रहा है कि रिजार्ट में रिशेपनिस्ट अंकिता भंडारी पर इस धंधे में शामिल होने के लिए दबाव बनाया जा रहा था। उसके नहीं मानने पर पार्टी से निकाले जा चुके भाजपा नेता के बेटे पुलकिल आर्या ने अपने साथियों के साथ उसे मिल कर मार डाला और शव को नहर में फेंक दिया था।
ऋषिकेश के इस मामले की जानकारी मिलने के बाद लोगों का गुस्सा फूट पड़ा। शुक्रवार को जब आरोपियों को गिरफ्तार कर ले जाया जा रहा था, तब लोगों ने वाहन पर हमला कर दिया। मामले में राज्य के लोगों के आक्रोश को देखते हुए मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने जांच का काम एसआईटी को सौंप दिया है।
अंकिता मर्डर केस को लेकर विपक्ष और आम आदमी के भारी दबाव के बाद भाजपा ने मुख्य आरोपी पुलकित आर्या के पिता विनोद आर्या और भाई अंकित आर्या को पार्टी से निकाल कर माहौल को शांत करने की कोशिश की है। इसी के साथ उत्तराखंड में अन्य रिजार्ट की जांच के भी आदेश मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने दिए। मुख्यमंत्री धामी ने इस मामले में दोषियों को सख्त से सख्त सजा दिए जाने की बात कही है।