देहरादून। स्पेशल टास्क फोर्स ने संयुक्त अभियान में देर रात एक महिला को आत्महत्या करने से बचा लिया है। उत्तराखंड पुलिस ने मेटा कंपनी का आभार प्रदर्शन किया है।
बुधवार को एसएसपी एसटीएफ आयुष अग्रवाल ने जानकारी दी कि साइबर अपराधियों से जनता को बचाने वाले सोशल मीडिया पर निगरानी रखने वाले एसटीएफ व साइबर पुलिस को कार्रवाई के निर्देश दिए गए थे। इसी के तहत फेसबुक के नोडल अधिकारी अश्विन मधुसूदन से सम्पर्क कर एसटीएफ सीओ अंकुश मिश्रा को नोडल अधिकारी बनाया गया है ताकि आत्महत्या जैसी कोई सूचना तो तुरंत कार्रवाई की जा सके।
इसी संबंध में 22 अगस्त की देर रात सूचना मिली कि एक महिला आत्महत्या का प्रयास कर रही है। युवती के इंस्टाग्राम में यह जानकारी पोस्ट की गई थी। इस पर ऊधमसिंह नगर के अधिकारियों वार्तालाप कर तत्काल मौके पर टीम को रवाना किया गया।
पता चला कि उक्त लड़की शालिनी (काल्पनिक नाम) अपने ताऊ के साथ रहती है। मां का देहांत हो गया है और पिता ने दूसरी शादी कर ली है। शालिनी का नगदपुरी के रहने वाले एक युवा से प्रेम संबंध चल रहा था जो किसी कारण से टूट किया गया था। असमंजस में आकर शालिनी ने आत्महत्या की बात को इंस्टाग्राम के माध्यम से शेयर किया। पुलिस टीम ने उसे समझा बुझाकर ताऊ जी और अन्य परिजनों को सौंपा। साथ ही उसे चौकी आने को कहा गया है। पुलिस की सतर्कता से यह लड़की जीवित बच गयी। काउंसलिंग के दौरान उसने बताया कि अब दोबारा से वह इस तरह का कोई कदम नहीं करेगी।
इस मामले में पुलिस अधीक्षक ट्रैफिक चंद्रशेखर आर गोडके और पुलिस उपाधीक्षक वंदना वर्मा की विशेष भूमिका रही है। पुलिस अधीक्षक आयुष अग्रवाल ने कहा है कि साइबर अपराध के साथ-साथ अन्य मामलों में पैनी नजर रखने के लिए मेटा कंपनी को बधाई दी जानी चाहिए।