अफगानिस्तान पर कट्टरपंथी संगठन तालिबान शासन कर रहा है। कट्टरपंथी संगठन तालिबान ने मजार-ए-शरीफ की बाख यूनिर्सिटी के 50 प्रोफेसरों को नौकरी से निकाल दिया है। अफगानिस्तान के एक स्थानीय अखबार ने यह खबर दी है। इसमें बताया गया है कि अब संस्थान से निकाले गए प्रोफेसरों की जगह मौलवियों को नियुक्त किया जाएगा।
इसी के साथ ही कुछ पदों पर तालिबान के सदस्य भी नियुक्त किए जाएंगे। खबरों के मुताबिक ‘हश्त-ए-सुब्ह’ नाम के अखबार के मुताबिक, युनिवर्सिटी से हटाए गए प्रोफसरों में से ही एक ने उसे यह जानकारी दी है। इतना ही नहीं, अखबार की मानें तो इन प्रोफेसरों के खिलाफ उनकी नस्ल के आधार पर तालिबान ने यह कार्यवाही की है।
कार्यवाही वाले लोगों में 27 लोग ताजिक हैं. जबकि 12 हजारा, 5 पश्तून, 2 अरब, 2 सादत, 1 उज्बेक और 1 बयत है। बताया जाता है कि इनमें से 3 प्रोफेसरों के पास डॉक्टरेट की डिग्री है। जबकि 36 के पास मास्टर डिग्री और अन्य के पास बैचलर डिग्री है। यूनिवर्सिटी में तालिबान के प्रतिनिधि अब्दुल्ला सफी ने उन्हें अन्य प्रोफेसरों से अलग चिह्नित किया था।